सरकार ने केजी-डी6 गैस उत्पादन में कमी के लिये रिलायंस-बीपी को जुर्माना नोटिस देना बंद किया

By भाषा | Published: May 22, 2019 05:54 PM2019-05-22T17:54:44+5:302019-05-22T17:54:44+5:30

सरकार ने केजी-डी6 से उत्पादन लक्ष्य से कम रहने के कारण 2012 से 2016 के बीच रिलायंस को 3.02 अरब डालर की लागत की वसूली की अनुमति देने से मना कर दिया था।

Government stops issuing Reliance BP penalty notices for KG D6 gas output shortfall | सरकार ने केजी-डी6 गैस उत्पादन में कमी के लिये रिलायंस-बीपी को जुर्माना नोटिस देना बंद किया

मामले की सुनवाई अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता न्यायाधिकरण कर रहा है।

सरकार ने रिलायंस इंडस्ट्रीज और उसकी भागीदार बीपी को उसके पूर्वी अपतटीय केजी-डी₨ फील्ड से प्राकृतिक गैस का उत्पादन लक्ष्य के अनुरूप नहीं रहने को लेकर उन्हें जुर्माना नोटिस जारी करना बंद कर दिया है। यह मामला मध्यस्थता में जाने के कारण कंपनियों को नोटिस नहीं दिया जा रहा है। सूचना के अधिकार कानून के तहत हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय (डीजीएच) से मिली जानकारी से यह पता चला। रिलायंस-बीपी की तरफ से फील्ड के विकास में लागत के एक हिस्से की वसूली की अनुमति नहीं देकर जुर्माना लगाने के निर्णय को चुनौती दी थी। उसके बाद सरकार ने 2016 के पश्चात नोटिस देना बंद कर दिया।

सरकार ने केजी-डी6 से उत्पादन लक्ष्य से कम रहने के कारण 2012 से 2016 के बीच रिलायंस को 3.02 अरब डालर की लागत की वसूली की अनुमति देने से मना कर दिया था। लेकिन उसके बाद कोई नोटिस नहीं दिया गया जबकि उत्पादन अनुमान के मुकाबले काफी कम स्तर पर पहुंच गया। डीजीएच ने आरटीआई के तहत पूछे गये सवालों के जवाब में कहा कि रिलायंस-बीपी को कुल चार नोटिस दिये गये जिसमें धीरूभाइर्द-1 और 3 (डी 1 और डी 3) फील्डों से गैस उत्पादन में होने वाली लागत के एक हिस्से की वसूली की अनुमति नहीं दी गयी।

हालांकि हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय आरटीआई के जवाब में नोटिस की प्रति साझा करने से मना कर दिया। उसका कहना है कि सूचना तीसरे पक्ष के वाणिज्यिक भरोसे का है। साथ ही मामला मध्यस्थता न्यायाधिकरण / कानून की अदालत में लंबित है, अत: नोटिस का प्रति उपलब्ध नहीं कराया जा सकता। इस बारे में पेट्रोलियम सचिव एम एम कुट्टी तथा डीजीएच ई-मेल और एसएमएस भेजे गये लेकिन उनकी तरफ से कोई जवाब नहीं आया।

सूत्रों का कहा है कि चूंकि मामले की सुनवाई अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता न्यायाधिकरण कर रहा है, अत: नोटिस देना बंद किया गया है। अगर सरकार मामले में कदम उठाता और जुर्माना लगाती तो यह अदालती कार्यवाही का अवमानना होता है। रिलायंस और बीपी को भेजे गये ई-मेल का भी कोई जवाब नहीं आया।

Web Title: Government stops issuing Reliance BP penalty notices for KG D6 gas output shortfall

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