आर्थिक मंदीः देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए सरकार ने उठाए ये आठ बड़े कदम

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: August 24, 2019 10:44 AM2019-08-24T10:44:47+5:302019-08-24T10:44:47+5:30

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए कई बड़ी घोषणाएं की हैं। हालांकि अभी यह स्पष्ट नही है कि ऋण प्रतिभूतियों, डेरिवेटिव्ज से होने वाले पूंजीगत लाभ पर इस घोषणा का क्या असर होगा?

Economic Slow Down: these eight major steps taken by the government to speed up the economy | आर्थिक मंदीः देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए सरकार ने उठाए ये आठ बड़े कदम

आर्थिक मंदीः देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए सरकार ने उठाए ये आठ बड़े कदम

Highlightsएफपीआई पर ऊंचे कर अधिभार को वापस लेने से सरकार के खजाने को 1,400 करोड़ रुपये का राजस्व नुकसान होगा।बाजार एक पहुंच के बेहतर करने के लिए डीमेट अकाउंट खोलने, म्यूचुअल फंड में निवेश के लिए आधार के जरिए केवाईसी को स्वीकृति।

अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने वाले कदमों की घोषणा करते हुए सीतारमण ने विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों पर ऊंचे कर-अधिभार को वापस ले लिया और बजट पूर्व की स्थिति बहाल कर दी। एफपीआई पर ऊंचे कर अधिभार को वापस लेने से सरकार के खजाने को 1,400 करोड़ रुपये का राजस्व नुकसान होगा। इसके अलावा भी वित्तमंत्री ने अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए कई बड़े कदम उठाने की घोषणा की है। बहरहाल, इसके पूरे असर को देखने की बात है। अभी यह स्पष्ट नही है कि ऋण प्रतिभूतियों, डेरिवेटिव्ज से होने वाले पूंजीगत लाभ पर इस घोषणा का क्या असर होगा।

अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए सरकार की घोषणाएंः-

- लंबे समय के लिए पूंजी की स्थिति सुधारने की खातिर एक संस्था की स्थापना जो इंफ्रास्ट्रक्चर और आवासीय योजनाओं के लिए ज्यादा कर्ज उपलब्ध करा सकेगी।

- रिजर्व बैंक और सेबी से विचार-विमर्श के बाद सरकार क्रेडिट डिफॉल्ट स्वैप मार्केट के विकास की दिशा में जल्द कदम उठाएगी।

- बांड्स में घरेलू बाजार की स्थिति सुधारने के लिए वित्त मंत्रालय इसे रिजर्व बैंक की मदद से निवेशकों और बांड जारीकर्ताओं के लिए ज्यादा बेहतर बनाने की कोशिश करेगा. बाजार मूल्य निर्धारण से जुड़े कारोबार को भी प्रोत्साहित किया जाेगा।

- सरकार ने कंपनीज (शेयर कैपिटल व डिबेंचर नियम) 2014 को संशोधित कर सूचीबद्ध कंपनियों, एनबीएफसी, एचएफसी के बकाया डिबेंचर्स के लिए डिबेंचर रिडम्पशन रिजर्व (डीआरआर) की जरूरत को खत्म कर दिया है।

- रिजर्व बैंक, डिपॉजिटरी रिसीप्ट स्कीम 2014 को जल्द क्रियान्वित करने जा रहा है। इससे एडीआर/जीडीआर केजरिए भारतीय कंपनियों की विदेशी निवेश तक पहुंच बड़ेगी।

- बाजार एक पहुंच के बेहतर करने के लिए डीमेट अकाउंट खोलने, म्यूचुअल फंड में निवेश के लिए आधार के जरिए केवाईसी को स्वीकृति।

- एफपीआई के जरिए विदेशी निवेशकों की पहुंच बेहतर बनाकर बाजार सुधारने के लिए केवाईसी प्रक्रिया को आसान बनाना।

- ऑफशोर रुपये बाजार को घरेलू स्टॉक एक्सचेंज तक लाया जाएगा। गिफ्ट आईएफएससी में अमेरिकी डॉलर-भारतीय रुपये के डेरिवेटिव्स को कारोबार की अनुमति। इसके लिए वित्त मंत्रालय रिजर्व बैंक के साथ मिलकर काम कर रहा है।

Web Title: Economic Slow Down: these eight major steps taken by the government to speed up the economy

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