बड़ा झटका! वोडाफोन में 11 हजार कर्मचारियों की हो सकती है छंटनी, नई सीईओ ने लिया कड़ा फैसला
By आजाद खान | Published: May 16, 2023 03:02 PM2023-05-16T15:02:23+5:302023-05-16T15:38:00+5:30
इस छंटनी पर बोलते हुए वोडाफोन के सीईओ मार्गेरिटा डेला वैले ने कहा है कि "हम अपने ऑर्गेनाइजेशन को सिंपल बनाएंगे। हम फिर से अपनी प्रतिस्पर्धी क्षमता हासिल करने के लिए जटिलताएं खत्म करेंगे।"
लंदन: मोबाइल सेवा देने वाली ब्रिटिश कंपनी वोडाफोन (Vodafone) ने बड़ी छंटनी हो सकती है। कंपनी अगले तीन साल में 11 हजार कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखा सकती है। कंपनी ने मंगलवार को इस बारे में जानकारी दी है और इस पर बोलते हुए मार्गेरिटा डेला वैले (Margherita Della Valle) ने कहा है कि कंपनी अपनी मौजूदा स्ट्रक्चर को आसान बनाना चाहती है। इस वजह से यह कदम उठाने का फैसला लिया जा रहा है।
मार्गेरिटा डेला का कहना है कि पिछले कुछ महीनों में कंपनी का प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा है। ऐसे में लगातार अच्छे प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए कंपनी में बदलाव करना काफी जरूरी हो गया है। यह पहली बार नहीं है जब कंपनी अपने यहां छंटनी कर रही है, कंपनी ने इसी साल एक हजार लोगों को बाहर निकाला है।
छंटनी पर क्या बोली मार्गेरिटा डेला
मामले में बोलते हुए मार्गेरिटा डेला ने कहा है कि "हम अपने ऑर्गेनाइजेशन को सिंपल बनाएंगे। हम फिर से अपनी प्रतिस्पर्धी क्षमता हासिल करने के लिए जटिलताएं खत्म करेंगे।" बता दें कि मार्गेरिटा डेला को कंपनी ने पांच महीने के लिए अंतरिम बॉस नियुक्त किया गया था। ऐसे में इसी महीने के शुरुआत में उन्हें स्थायी रूप से कंपनी का सीईओ नियुक्त किया गया है।
इससे पहले कंपनी के सीईओ नीक रीड थे जो पिछले साल दिसंबर में इस्तीफा दे दिए थे। वे कंपनी में चार साल से थे और उनके मौजूदगी में कंपनी के शेयर में काफी गिरावट भी देखी गई थी।
इससे पहले 1000 कर्मचारियों की हुई थी छंटनी
बता दें कि इस साल के शुरुआत में भी कंपनी ने छंटनी की थी और एक हजार कर्मचारियों को काम से बाहर निकाल दिया था। यही नहीं कंपनी जर्मनी से भी 1300 कर्मचारियों को निकाल सकती है। बता दें कि जर्मनी में वोडाफोन का बड़ा बाजार है और इसके यूजर्स यहां ज्यादा पाए जाते है।
रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, अगर कंपनी 11 हजार कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाती है तो ये अब तक की सबसे बड़ी छंटनी होगी। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि कंपनी में करीब एक लाख कर्मचारी है। ऐसे में पिछले कुछ महीनों से कंपनी के खराब प्रदर्शन के कारण ऐसा फैसला लिया जा रहा है।