मुझे राष्ट्रवादी होने की दी जा रही सजा, कविता चोरी के आरोप पर बोले मनोज मुंतशिर- मैं रुकने और झुकने वाला नहीं हूं
By अनिल शर्मा | Published: September 23, 2021 12:11 PM2021-09-23T12:11:30+5:302021-09-23T13:03:26+5:30
मनोज मुंतशिर पर कविता चोरी के आरोप का मुद्दा सोशल मीडिया पर काफी उछाया गया और उनको ट्रोल किया गया। गीतकार ने इसपर अपनी चुप्पी साध रखी थी लेकिन बाद में उन्होंने एक ट्वीट किया और बताया कि वह इसका जवाब फुर्सत में देंगे।
अपने एक वीडियो में मुगलों को डकैत बता, विवादों में आए बॉलीवुड गीतकार मनोज मुंतशिर (Manoj Muntashir) पर कविता चोरी का आरोप लगा है। मुंतशिर पर आरोप है कि उन्होंने अपनी किताब ‘मेरी फितरत है मस्ताना’ की एक कविता ‘मुझे कॉल करना’ रॉबर्ट जे लावरी की कविता कॉल मी का हिंदी अनुवाद करके अपने नाम से छाप लिया है।
सोशस मीडिया पर यह मुद्दा काफी उछाया गया और मनोज मुंतशिर को ट्रोल किया गया। हालांकि गीतकार ने इसपर अपनी चुप्पी साध रखी थी लेकिन बाद में उन्होंने एक ट्वीट किया और बताया कि वह इसका जवाब फुर्सत में देंगे। उन्होंने ट्वीट में लिखा था- 200 पन्नों की किताब और 400 फिल्मी और गैर फिल्मी गाने मिलाकर सिर्फ 4 लाइनें ढूंढ पाए? इतना आलस? और लाइनें ढूंढो, मेरी भी और बाकी राइटर्स की भी। फिर एक साथ फुरसत से जवाब दूंगा। शुभ रात्रि!
मैं रुकने और झुकने वाला नहीं हूं। मेरे साथ लाखों भारतवासी कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैंः गीतकार
इस बीच मनोज मुंतशिर ने मामले को लेकर एक ट्वीट किया है और बताया है कि आज थोड़ी फुरसत है, सारे जवाब दूंगा, तैयार रहिए। उन्होंने आजतक से बातचीत का एक लिंक भी ट्विटर पर साझा किया है। वेबसाइट से बातचीत में कविता चोरी के आरोपों के जवाब में मनोज मुंतशिर ने कहा कि उन्हें राष्ट्रवादी होने की सजा दी जा रही है। बकौल मुंतशिर- मैं रुकने और झुकने वाला नहीं हूं। मेरे साथ लाखों भारतवासी कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं। ये लोग जानते हैं कि मैं सच कह रहा हूं और सच को कभी समर्थन की कमी नहीं होती।
4 लाइनों को बेशर्मी से तोड़-मरोड़ मुझे राष्ट्रवादी होने की सजा दी जा रही हैः मुंतशिर
इसी बातचीत में मनोज मुंतशिर ने कहा है कि उन्होंने 400 से ज्यादा गीत, सैकड़ों कविताएं लिखे हैं। और राष्ट्र को समर्पित उनके अनगिनत वीडियोज काफी महत्वपूर्ण हैं। रॉबर्ट जे लावरी की कविता कॉल मी की चोरी पर गीतकार ने कहा कि 4 लाइनों को बेशर्मी से तोड़-मरोड़ मुझे राष्ट्रवादी होने की सजा दी जा रही है। उन्होंने ट्रोल करने वालों को सीधा संदेश देते हुए कहा, मुझे कलंकित करने वाले एक बार ये तय कर लें कि उनको परेशानी मेरी कविता से है, या मेरे राष्ट्रवादी वीडियोज से, क्योंकि मैं वीडियोज बनाता रहूंगा, और कविता लिखता रहूगा, मुझे रोकना असंभव है।