जानिए कौन थीं गौहर जान, जिन्हें आज गूगल डूडल बनाकर कर रहा सेलिब्रेट 

By रामदीप मिश्रा | Published: June 26, 2018 08:12 AM2018-06-26T08:12:03+5:302018-06-26T08:12:03+5:30

19वीं सदी की गौहर जान गौहर का जन्म आजमगढ़ में 26 जून 1873 को हुआ था। वो आर्मीनियाई वंश से थीं। उनके पिता का नाम विलियम रोवर्ट और उनकी मां का नाम विक्टोरिया हेमिंग्स था।

google doodle is celebrating gauhar jaan 145th birthday | जानिए कौन थीं गौहर जान, जिन्हें आज गूगल डूडल बनाकर कर रहा सेलिब्रेट 

जानिए कौन थीं गौहर जान, जिन्हें आज गूगल डूडल बनाकर कर रहा सेलिब्रेट 

Highlights19वीं सदी की गौहर जान गौहर का जन्म आजमगढ़ में 26 जून 1873 को हुआ था। गौहर जान ऐसी पहली ऐसी गायिका थीं, जिनके गीतों के रिकॉर्डिंग की गई थी। गौहर जान की आज 145वीं जयंती है, जिसे गूगल सेलिब्रेट कर रहा है। 

नई दिल्ली, 26 जूनः जब भी हम रिकॉर्डिंग संगीत की बात करेंगे तो सबसे पहले गौहर जान का नाम जुबां पर आएगा। वह हमेशा से भारतीय संगीत के इतिहास में गुम रही हैं। बहुत कम लोग उनके बारे में जानते हैं, लेकिन मंगलवार यानी 26 जून को गूगल ने उन्हें डूडल बनाकर याद किया है। गौहर जान की आज 145वीं जयंती है, जिसे गूगल सेलिब्रेट कर रहा है। 

कौन थीं गौहर जान?

19वीं सदी की गौहर जान गौहर का जन्म आजमगढ़ में 26 जून 1873 को हुआ था। वो आर्मीनियाई वंश से थीं। उनके पिता का नाम विलियम रोवर्ट और उनकी मां का नाम विक्टोरिया हेमिंग्स था, लेकिन गौहर जान जन्म से भारतीय थीं क्योंकि उनका जन्म भारत में हुआ था और वो पहले यहूदी थीं और उनका नाम अंजेलिना योवर्ड था, लेकिन बाद में आगे चलकर उनकी मां ने इस्लाम धर्म अपना लिया। जिससे उनका नाम गौहर जान में बदल गया। गौहर की फनकारी और अदाओं ने संगीत प्रेमियों में दीवानगी पैदा की थी। उन्हें देश की पहली ग्लैमरस गायिका कहा जाता है। 

कई भाषाओं में हुई रिकॉर्डिंग

बताया जाता है कि गौहर जान ऐसी पहली ऐसी गायिका थीं, जिनके गीतों के रिकॉर्डिंग की गई थी। द ग्रामोफोन कंपनी ऑफ इंडिया ने उन्हें लॉन्च कियी था और 1902 से 1920 के बीच हिन्दुस्तानी, बांग्ला, गुजराती, मराठी, तमिल, अरबी, फारसी, पश्तो, अंग्रेजी और फ्रेंच गीतों के छह सौ डिस्क निकाले थे। उनका दबदबा ऐसा था कि रियासतों और संगीत सभाओं में उन्हें बुलाना प्रतिष्ठा का प्रश्न हुआ करता था। 

1930 में हो गया था निधन

कहा गया कि गौहर जान उस समय की सबसे अमीर गायिका थीं, जिन्होंने न केवल हिन्दुस्तानियों को बल्कि अंग्रेंजों को भी अपनी गायकी का दीवाना बना दिया था। उनके सुरों की आवाज दिल्ली तक गूंजी। हालांकि उनके निजी जीवन में कई दिक्कतें आईं, जिनमें सबसे बड़ा धोखा उन्हें प्रेम में मिला था। इसके बाद वह आजीवन अविवाहित रहीं और मैसूर रियासत की दरबारी गायिका रहते हुए 1930 में उनका निधन हो गया था।

लोकमत न्यूज के लेटेस्ट यूट्यूब वीडियो और स्पेशल पैकेज के लिए यहाँ क्लिक कर सब्सक्राइब करें!

Web Title: google doodle is celebrating gauhar jaan 145th birthday

बॉलीवुड चुस्की से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे