राजस्थान सियासतः बढ़ने ही थे पेट्रोल के रेट, सारी मुफ्त-माफी योजनाएं इसी से चलतीं हैं?
By प्रदीप द्विवेदी | Published: July 6, 2019 06:55 PM2019-07-06T18:55:31+5:302019-07-06T18:55:31+5:30
पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान सत्ता बचाने के लिए प्रदेश की बीजेपी सरकारों ने पेट्रोल-डीजल के दामों पर नियंत्रण किया था, लेकिन केन्द्र सरकार की ओर से पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ाने के साथ ही लगे हाथ ऐसे प्रदेशों ने भी पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ा दिए हैं,
लोकसभा चुनाव जीतने के लिए जितनी भी मुफ्त-माफी योजनाओं के वादे किए गए थे, उनका असर अब आम आदमी की जेब पर नजर आएगा. ये मुफ्त-माफी योजनाएं टैक्स, पेट्रोल-डीजल के रेट के दम पर ही चलती हैं, लिहाजा इनकी कीमतें तो बढ़नी थी. यह बात अलग है कि इसके बाद मंहगाई पर भी असर पड़ेगा.
पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान सत्ता बचाने के लिए प्रदेश की बीजेपी सरकारों ने पेट्रोल-डीजल के दामों पर नियंत्रण किया था, लेकिन केन्द्र सरकार की ओर से पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ाने के साथ ही लगे हाथ ऐसे प्रदेशों ने भी पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ा दिए हैं, जिसके कारण राजस्थान, मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में इनकी कीमतों में बढ़ोतरी हुई है. इन राज्यों में पेट्रोल पर चार रुपये प्रति लीटर से ज्यादा की बढ़ोतरी हुई है, जहां राजस्थान में पेट्रोल 76 रुपये के करीब पहुंच रहा है, वहीं मध्य प्रदेश में 78 रुपये पार हो गया है.
इस संबंध में राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत का प्रेस को कहना है कि पेट्रोल-डीजल पर चार फीसदी टैक्स पहले भी लगता था, इसको पिछली भाजपा सरकार ने चुनाव जीतने के लिए हटा दिया, लेकिन हमने फिर से इसको लगाकर भाजपा की गलती को सुधारा है. हमारा फैसला सही है.
उल्लेखनीय है कि राजस्थान सरकार ने पेट्रोल-डीजल की कीमतों में वैट चार फीसदी तक बढ़ा दिया है, जिसी वजह से पेट्रोल पर अब वैट 26 प्रतिशत से बढ़कर 30 प्रतिशत और डीजल पर 18 प्रतिशत से बढ़कर 22 प्रतिशत हो गया है. नतीजा यह है कि इससे पेट्रोल की कीमत 2.10 रुपये प्रति लीटर, तो डीजल की कीमत 2.12 रुपये प्रति लीटर तक बढ़ गई है, जबकि केंद्र सरकार की ओर से पेट्रोल पर 2.41 रुपये और डीजल पर 2.37 रुपए पहले ही बढ़ाए गए हैं, मतलब- इन्हें जोड़कर पेट्रोल की रेट करीब 4.50 रुपये और डीजल की रेट करीब 5 रुपये प्रति लीटर तक बढ़ रही है.
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि बीजेपी और कांग्रेस ने चुनाव जीतने के लिए कईं मुफ्त-माफी योजनाओं का ऐलान कर रखा है. अब इन्हें चलाने के लिए जो धन चाहिए, वह पेट्रोल-डीजल की रेट बढ़ाने से ही मिल सकता है, इसलिए अभी दाम बढ़े हैं और आगे भी पेट्रोल-डीजल की कीमतें और बढ़ सकती हैं!