Maharashtra Assembly Election Results 2024: महाराष्ट्र में कांग्रेस का सूपड़ा साफ क्यों?, अपनी बत्ती तो कांग्रेसियों को खुद ही जलानी होगी

By विजय दर्डा | Published: December 9, 2024 05:35 AM2024-12-09T05:35:00+5:302024-12-09T05:35:00+5:30

Maharashtra Assembly Election Results 2024: सोलापुर, कोल्हापुर, सातारा, पुणे वाले बेल्ट को कांग्रेस और एनसीपी का गढ़ माना जाता रहा है लेकिन वहां भी जमीन खिसक गई.

Maharashtra Assembly Election Results 2024 Why is Congress swept in Maharashtra blog Dr Vijay Darda Congressmen light their own lights | Maharashtra Assembly Election Results 2024: महाराष्ट्र में कांग्रेस का सूपड़ा साफ क्यों?, अपनी बत्ती तो कांग्रेसियों को खुद ही जलानी होगी

file photo

Highlightsसबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस को आखिर क्या हो गया है? उसकी जमीन क्यों धसकती जा रही है?गांधी परिवार पाॅवर हाउस लेकिन अपनी बत्ती तो कांग्रेसियों को खुद ही जलानी होगी.केंद्रीय मंत्री, 19 राज्यों के मुख्यमंत्री और सहयोगी दलों के बड़े नेता भी मौजूद थे.

Maharashtra Assembly Election Results 2024: मैं महाराष्ट्र की नई सरकार के शपथ ग्रहण समारोह से लौटा हूं. प्रचंड भीड़ थी. उद्योग और फिल्म जगत की हस्तियां तो मौजूद थीं ही, मुझे बड़ी संख्या में आम लोग और लाड़ली बहनाएं दिखीं. गौर करने  वाली बात थी कि नई सरकार की हौसला अफजाई के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह तो मौजूद थे ही, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सहित कई केंद्रीय मंत्री, 19 राज्यों के मुख्यमंत्री और सहयोगी दलों के नेता भी मौजूद थे.

यह उपस्थिति निश्चय ही एकता और संगठन क्षमता का संदेश दे रही थी. मंच से उतरते हुए मेरे भीतर कई विश्लेषण चल रहे थे. मुझे याद आ रहा था कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस और उसके सहयोगी दलों को सफलता मिली थी, उसने किस कदर उनके भीतर अति आत्मविश्वास भर दिया. शायद यही कारण था कि विधानसभा चुनाव परिणाम के पहले कांग्रेस और सहयोगी दलों के नेता बावले हुए जा रहे थे.

मुंगेरीलाल के हसीन सपने हवा में तैर रहे थे. लेकिन जब परिणाम आया तो पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई. इतिहास में ऐसा कभी नहीं हुआ कि महाराष्ट्र के 36 जिलों में से 21 जिलों में कांग्रेस का सूपड़ा साफ हो गया. इन जिलों से एक भी सीट पर कांग्रेस को सफलता नहीं मिली. सोलापुर, कोल्हापुर, सातारा, पुणे वाले बेल्ट को कांग्रेस और एनसीपी का गढ़ माना जाता रहा है लेकिन वहां भी जमीन खिसक गई.

कांग्रेसी ताल  ठोंक रहे थे कि मराठवाड़ा और विदर्भ में चमत्कार होगा लेकिन हुआ नहीं! जब कांग्रेसी ताल ठोंक रहे थे, उस वक्त भाजपा के एक बड़े नेता मुझसे कह रहे थे कि यदि विदर्भ और मराठवाड़ा का समर्थन मिल गया तो निश्चित रूप से सरकार हम बनाएंगे. यही हुआ भी. कांग्रेस तो संगठन विहीन थी ही, शरद पवार और उद्धव  ठाकरे के पिटारे का जादू भी गायब हो गया!

बड़े-बड़े कांग्रेसी ढेर हो गए. प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले जैसे-तैसे बचे! फिर आरोप यह मढ़ दिया कि महायुति की जीत का जादू ईवीएम ने दिखाया है! एलन मस्क ने यह कहकर आग में घी डाल दिया कि ईवीएम में छेड़छाड़ संभव है. निश्चय ही टेक्नोलॉजी में सबकुछ संभव है और सबकुछ असंभव भी है. कोई साबित तो करे कि इससे कोई विजयी हो सकता है तो किसी को हराया जा सकता है!

कहने को तो यह भी कहा गया कि जम्मू-कश्मीर हमें दे दिया, हरियाणा खुद ले लिया. झारखंड हमें दे दिया और महाराष्ट्र खुद रख लिया. एक व्यक्ति ने मुझसे कहा कि यदि ईवीएम का जादू चलता है तो फिर प्रियंका गांधी लाखों वोटों से कैसे जीतीं? एक कांग्रेसी ने जवाब दिया कि खुद का दामन पाक दिखाने के लिए उतना तो करना ही पड़ेगा.

मुझे लगता है कि कांग्रेसी यदि इसी सोच के शिकार रहे तो भौजूदा हालात से कांग्रेस कभी नहीं उबर पाएगी. विधानसभा चुनाव के लिए रमेश चेन्नीथला की एंट्री भी बहुत देर से हुई. उन्होंने अच्छे प्रत्याशियों को टिकट दिए, कार्यकताओं के बीच अग्नि प्रज्ज्वलित करने और उन्हें ऊर्जा प्रदान करने की कोशिश की.

उनकी मेहनत के लिए उन्हें सलाम किया जाना चाहिए लेकिन जब गांव-गांव में संगठन खत्म हो गया हो तो कोई एक व्यक्ति क्या कर सकता है? महायुति की सुनामी में भी यवतमाल से अनिल उर्फ बालासाहब मांगुलकर या नागपुर से विकास ठाकरे जैसों की जीत का अंतर शायद और अधिक होता यदि संगठन की शक्ति साथ होती. जाति की राजनीति ने भी कांग्रेस का बड़ा नुकसान किया है.

समस्या महायुति के सामने ज्यादा थी. सोयाबीन और कपास का मूल्य न मिल पाने के कारण किसान नाराज थे. मराठा आंदोलन सामने था लेकिन हिंदुत्व की लहर में ये सारी बातें हवा हो गईं. भाजपा ने कहा कि वोट जिहाद की वजह से यह चुनाव हमारा धर्मयुद्ध है. एक हैं तो सेफ हैं. बंटेंगे तो कटेंगे. यह फैक्टर भी चल निकला कि जब मुस्लिम और दलित एक हो सकते हैं तो सारे हिंदू एक क्यों नहीं हो सकते?

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और आनुषंगिक संगठनों के 90 हजार से ज्यादा स्वयंसेवकों एवं कार्यकर्ताओं के अलावा आरएसएस विचार परिवार के भी हजारों-हजार कार्यकर्ताओं ने भाजपा की जीत के लिए गांव-गांव में 22 हजार से ज्यादा बैठकें कीं. इसके बावजूद इस प्रचंड जीत का भरोसा किसी को नहीं था लेकिन एक व्यक्ति को भरोसा था जिनका नाम है देवेंद्र सरिता गंगाधरराव फडणवीस.

जिन्होंने कहा कि भाजपा करीब 135 सीटें जीतेगी और वाकई  132 सीटों पर जीत मिली भी! शिवसेना को 57 और एनसीपी को 41 सीटें मिलीं. सारा श्रेय मैं अमित भाई शाह की राजनीतिक  प्रखरता, फडणवीस के परिश्रम, बावनकुले के संगठन कौशल, एकनाथ शिंदे की दिलदारी और लाड़ली बहन योजना को देता हूं. और अजित पवार यह बताने में कामयाब हुए कि मुझ पर विश्वास करो, भविष्य मैं ही हूं!

इन सबके बीच उम्मीदों का नया नाम हो गया देवाभाऊ. वे मुख्यमंत्री के पद पर आसीन हो चुके हैं. शिंदे और पवार के रूप में दो शक्तियां साथ हैं. देवेंद्र फडणवीस ने पहले के कार्यकाल में समृद्धि महामार्ग, कोस्टल रोड, अटल सेतु, मेट्रो परियोजनाओं और गांव-गांव में जलशिवार की अद्भुत सौगातें दी थीं. कुछ अधूरे कामों को उन्हें पूरा करना है.

राज्य के पिछड़े इलाके नई सौगातों की राह देख रहे हैं. विदर्भ को ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री की दरकार है. और भी बहुत सी जरूरतें हैं. देवेंद्र जी को उम्मीदों पर खरा उतरना है. ...और कांग्रेस के नेताओं से एक बात कहना चाहूंगा कि हर बात के लिए गांधी परिवार की ओर ताकने से काम नहीं चलेगा.

राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के खाते से कब तक काम चलेगा? गांधी परिवार निश्चय ही कांग्रेस का पाॅवर हाउस  है लेकिन अपनी बत्ती तो कांग्रेसियों को खुद ही जलानी पड़ेगी. कांग्रेस के पराभव की चिंता का कारण यह है कि लोकतंत्र तभी फलता-फूलता है जब सामने सशक्त विपक्ष हो.

इस बार प्रतिरोध के लिए कोई नेता प्रतिपक्ष नहीं होगा लेकिन मुझे देवेंद्र जी की यह बात सुनकर सुकून मिला है कि ‘हम बदले की भावना से नहीं बल्कि महाराष्ट्र को बदलने की भावना से काम करेंगे.’ देवेंद्र जी और उनकी पूरी टीम को  शुभकामनाएं.

Web Title: Maharashtra Assembly Election Results 2024 Why is Congress swept in Maharashtra blog Dr Vijay Darda Congressmen light their own lights

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे